काबुल से जौनपुर आया बेटा तो मां ने लगाया तिलक, बहनों ने बांधी राखी

उत्तरप्रदेश लाइव राज्य समाचार वाराणसी

जौनपुर। आशीष राय
जौनपुर के गोधना निवासी मयंक के घर रक्षा बंधन के अगले दिन यानी सोमवार को राखी का पर्व मनाया गया। क्योंकि काबुल में फंसे मयंक सोमवार सुबह ही घर पहुंचे। भाई की सकुशल वापसी पर बहनों ने केंद्र सरकार को धन्यवाद कहा। वहीं भाई की आरती उतारकर राखी भी बांधी।
अफगान में तालिबानी कब्जे के बाद सिरकोनी ब्लॉक के गोधना गांव निवासी मयंक सिंह भी काबुल के एक फैक्ट्री में फंस गए थे। मयंक काबुल के खान स्टील प्लांट में प्रोजेक्ट मैनेजर के पद पर तैनात थे। अफगान के हालात के बाद उनको सकुशल देश वापस लाने के लिए परिजनों ने केंद्र सरकार से गुहार लगाई थी। रविवार देर रात मयंक काबुल से नई दिल्ली पर वहां से सोमवार को जौनपुर पहुंचे। उन्होंने बताया कि भारत के विशेष विमान से अफगानिस्तान से दिल्ली पहुंचे थे। दिल्ली से सुहेलदेव एक्सप्रेस ट्रेन से जफराबाद स्टेशन पहुंचे, वहां से घर पहुंचे। मयंक के घर पहुंचने पर उनकी मां प्रेमलता सिंह, पिता सत्यप्रकाश सिंह, पत्नी आंचल सिंह, बहनें आकांक्षा सिंह व अपूर्वा सिंह, भाई शशांक सिंह और पुत्र आदित्य सिंह की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। मयंक के घर पहुंचने पर मां ने तिलक लगाकर उनका स्वागत किया तो बहनों ने राखी बांधकर रक्षा बंधन का पर्व मनाया। अफगान का जिक्र करते हुए मयंक ने बताया कि फैक्ट्री में वह सुरक्षित थे। उन्होंने कहा कि लोगों की वापस कराने के लिए केंद्र सरकार जो प्रयास कर रही है वह सराहनीय है। बाहर के हालात अच्छे नहीं हैं, लेकिन कंपनी के अंदर हमलोग पूरी तरह सुरक्षित थे। मयंक ने बताया कि कल पूर्वांचल के अन्य जिलों के कुछ युवक भी रविवार को काबुल से दिल्ली पहुंचे हैं। जो अभी काबुल में है उनके वापस लाने के लिए केंद्र सरकार लगातार प्रयास कर रही है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *