दिव्यांग बच्चों ने हौसले को दी परवाज तो देश ने किया सम्मान

आगरा इलाहाबाद उत्तरप्रदेश लाइव गोरखपुर नोएडा बरेली मुख्य समाचार मुरादाबाद मेरठ लखनऊ वाराणसी

लखनऊ। राजेंद्र तिवारी
वह दिव्यांग है पर जोश सामान्य बच्चों से जरा भी कम नहीं। उसके साहस और हौसले ने उड़ान भरी तो सम्मान पूरे देश ने किया। शायद किसी ने ठीक ही कहा है- जिंदगी के सफर में खत्म कहां होते हैं रास्ते, मंजिल उसी की है, आसमां में होते हैं जिसके सपने। इसी को चारितार्थ किया है यूपी के मेरठ निवासी दो दिव्यांग बच्चों ने। नाम है आरुषि और विनायक। दोनों को राष्ट्रपति ने बाल पुरस्कार से सम्मानित किया। दोनों न सिर्फ बेहतरीन बैडमिंटन खिलाड़ी हैं बल्कि उन्होंने राज्य और देश के लिए स्वर्ण पदक भी जीते हैं।

बैडमिंटन खिलाड़ी दिव्यांग आरुषि दीवान पब्लिक स्कूल की छात्रा है। आरुषि ने खुद पर कभी दिव्यांगता को हावी नहीं होने दिया। और न ही इस बात की परवाह उसे हुई कि लोग क्या सोचते हैं। उसका बस एक ही जुनून था कुछ कर दिखाने का और उसने उसे पूरा किया। आरुषि ने पहली बार 2018 में मलेशिया में एशिया पेसिफिक डेफ यूथ बैडमिंटन चैंपियनशिपकांस्य पदक जीतकर यह साबित कर दिया। उसकी इस उपलब्धि पर शिक्षकों ने भी सराहा और कहा- मंजिल अभी बाकि हैं यह तो बस शुरुआत थी। इसके बाद आरुषि ने चेन्नई में छठे नेशनल जूनियर व सब-जूनियर गेम्स ऑफ डेफ युगल में स्वर्ण व मिक्सड डबल में कांस्य पदक जीतकर अपने इरादे बता दिए। रांची में आयोजित पांचवें नेशनल जूनियर व सब-जूनियर गेम्स ऑफ डेफ एकल व मिक्सड डबल में स्वर्ण पदक, हैदराबाद में 20वें नेशनल गेम्स ऑफ डेफ और चेन्नई में आयोजित 21वीं नेशनल गेम्स ऑफ द डेफ कांस्य और रजत पदक, जमशेदपुर में चौथे नेशनल जूनियर व सब-जूनियर गेम्स ऑफ डेफ में मिक्सड डबल में स्वर्ण व एकल में कांस्य पदक वह जीत चुकी है। कुछ यही कहानी दिव्यांग बैडमिंटन खिलाड़ी विनयाक बहादुर की है। विनायक शांति निकेतन विद्यापीठ में आठवीं के छात्र हैं। बिहार में आयोजित 17वें बिहार दिव्यांग खेल अवार्ड समारोह में विनायक को आउटस्टैंडिंग एबिलिटी इन द फील्ड ऑफ स्पोर्ट्स अवार्ड से सम्मानित किया गया था। मूक बधिर मां-बाप के बेटे विनायक ने बैडमिंटन में राष्ट्रीय स्तर पर चार स्वर्ण, तीन रजत और एक कांस्य पदक जीता है। वहीं प्रदेश स्तरीय प्रतियोगिता में 10 स्वर्ण, नौ रजत और तीन कांस्य पदक जीते हैं। मेरठ के दो होनहार आरुषि शर्मा और विनायक बहादुर को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने राष्ट्रीय बाल पुरस्कार 2020 से सम्मानित किया। दोनों को एक-एक लाख रुपये नकद, टैबलेट, पदक, सर्टिफिकेट और प्रशस्ति पत्र से नवाजा गया। अन्य बाल पुरस्कार से सम्मानित बच्चों के साथ आरुषि और विनायक भी पीएम मोदी से मुलाकात करेंगे और उनके साथ लंच करेंगे। इतना ही नहीं 26 को गणतंत्र दिवस समारोह का हिस्सा भी बनेंगे। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने दोनों बच्चों को सम्मानित करने के बाद गॉड ब्लेस यू और आगे अच्छा करने के लिए प्रेरित भी किया।

Leave a Reply to कृष्ण Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *